रिपोर्ट- उमेश चन्द्र
कौशाम्बी : प्रदेश सरकार द्वारा पीड़ित और गंभीर मामलों में तत्काल अधिकारियों को सूचना देने के लिए कई वर्ष पहले शिवजी नंबर जारी किया है। लेकिन अधिकारियों द्वारा सीयूजी नंबर का दुरुपयोग किया जा रहा है। पीड़ित लोगों द्वारा सूचना देने के लिए किए गए फोन को अधिकारियों के अली अथवा पीआरओ उठाकर साहब बिजी होने की खोखली जानकारी देकर फोन काट देते हैं इससे प्रदेश सरकार के निर्देशों पर अमल नहीं हो रहा है। एसपी की जनसुनवाई में पुलिस की पोल खुल गई जब एक विकलांग व्हील चेयर पर चलकर 10वीं की जनसुनवाई में शिकायती पत्र देने पहुंच गया प्रदेश सरकार द्वारा गुंडा माफिया और दबंगों का राज खत्म करने के लिए पीड़ितों को अधिकारियों तक सूचना पहुंचाने के तौर पर सरकारी सीयूजी नंबर जारी किया गया है, लेकिन इस नंबर का अधिकारियों द्वारा दुरुपयोग किया जा रहा है, यदि जिले के जिला अधिकारी को पीड़ित अथवा दुर्घटना से संबंधित जानकारी देने के लिए शिवजी नंबर फोन किया जाता है, तो अली फोन उठाकर हेलो कहने के उपरांत बिजी होने का दावा करके फोन काट देता है, वहीं पर जिले के पुलिस कप्तान को यदि मार्ग दुर्घटना अथवा पीड़ित लोगों द्वारा फोन किया जाता है, तो फोन पर उनके पी आर ओ बात करते नजर आते हैं। बात करने की जानकारी देने पर पीआरों द्वारा बिजी होने का दावा करके फोन काट दिया जाता है। पुलिस महकमे की पोल उस समय खुली जब करारी थाना क्षेत्र से 1 विकलांग अपनी शिकायत पत्र लेकर व्हीलचेयर के साथ एसपी की. जनसुनवाई में पहुंच गया। इससे जनता काफी अधिकारियों की चौखट पर पहुंचकर न्याय की गुहार लगाती है।
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