Ticker

6/recent/ticker-posts

आखिर क्यों नहीं पहुंचता ताजमहल तक पानी, चाहे जितना बढ़ जाए यमुना का जल स्तर, जानिए वजह...

रिपोर्ट-न्यूज़ एजेंसी

आगरा : राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में यमुना रौद्र रूप दिखा रही है वहीं आगरा में भी यमुना अपने पानी से लोगों को डरा रही है मंगलवार सुबह यमुना का जलस्तर 497.20 फीट तक पहुंच गया था, मोहब्बत की निशानी ताजमहल के पीछे बने ताज व्यू पॉइंट पर भी यमुना का पानी पहुंच गया था लेकिन ताजमहल के अंदर पानी नहीं गया, ताजमहल की जो डिजाइन है, वो इस तरह से बनाई गई है कि उसमें पानी नहीं आता है ताजमहल का जो स्ट्रक्चर है उससे यमुना काफी नीचे बहती है ताजमहल में प्रवेश करके देखते हैं तो यमुना नदी नजर नहीं आती है यमुना को देखने के लिए स्ट्रक्चर के ऊपर चढ़़ना पड़़ता है ताजमहल का स्ट्रक्चर ऐसा बनाया गया था कि पानी का लेवल यदि बढ़ भी जाए तो वो दीवार को छुएगा लेकिन अंदर नहीं जा पाएगा, क्योंकि पीछे ऊंची दीवार है ताजमहल के कंस्ट्रक्शन के समय उसके डिजाइन पर अच्छी तरह से काम किया गया था, ताजमहल के फाउंडेशन को यमुना नदी को ध्यान में रखते हुआ बनाया गया था ताकि ताजमहल की भव्यता बनी रहे, यमुना का किनारा दलदली इलाका है और ताजमहल सेसमिक जोन 4 में आता है इसलिए इसके नीचे साल की लकड़ी के फ्रेम का इस्तेमाल किया गया था, खुदाई के दौरान साल की लकड़ी का फ्रेम भी मिला था।यह फ्रेम भूकंप के झटको को आसानी से सहन कर लेता है साल की लकड़ी की खासियत यह है कि यदि वो पानी में भीगी रहती है तो उसकी मजबूती कई वर्षों तक बनी रहती है इस वजह से ताजमहल के परिसर में नदी का पानी आने की संभावना कम है उस जमाने में और भी कई ऐसी इमारतें बनी थी जिसके चबूतरे में साल की लकड़ी का इस्तेमाल किया गया था ।

Post a Comment

0 Comments